📰 RCB ने बिना परमिशन विक्ट्री परेड रखी, सोशल मीडिया पोस्ट से जुट गई भीड़, स्टेडियम की क्षमता से 10 गुना ज्यादा लोग जमा हुए, 11 की मौत, 50 घायल
बेंगलुरु – रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) की विक्ट्री डे परेड पर हुए हादसे को लेकर कर्नाटक सरकार की रिपोर्ट सामने आ गई है। इस रिपोर्ट में भगदड़ की जिम्मेदारी सीधे तौर पर RCB पर डाली गई है। सरकार का कहना है कि आयोजकों ने परेड से पहले पुलिस या प्रशासन से कोई औपचारिक अनुमति नहीं ली थी। नतीजा – 11 जानें गईं, 50 लोग घायल हुए।
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| 4 जून को IPL में 18 साल बाद RCB के जीतने पर बेंगलुरु के चिन्नास्वामी स्टेडियम में आयोजित विक्ट्री परेड में भगदड़ मच गई थी, जिसमें 11 लोगों की जान चली गई थी। |
🟥 रिपोर्ट के मुख्य बिंदु:
- 1. बिना अनुमति हुई परेड, कोहली का वीडियो बना आकर्षण का केंद्र
- RCB ने 3 जून को पुलिस को केवल "सूचना" दी, लेकिन कोई आधिकारिक अनुमति नहीं ली। 4 जून को सुबह 7 बजे सोशल मीडिया पर फ्री एंट्री की घोषणा कर दी गई। इसके बाद विराट कोहली का वीडियो जारी हुआ, जिसमें उन्होंने बेंगलुरु के लोगों को परेड में आमंत्रित किया।
- 2. सोशल मीडिया से जुट गई तीन लाख से ज्यादा भीड़
- RCB के सोशल मीडिया पोस्ट को 44 लाख बार देखा गया। नतीजतन करीब 3 लाख लोग स्टेडियम पहुंच गए, जबकि उसकी क्षमता केवल 35,000 थी। आयोजकों ने फ्री पास की जानकारी देरी से दी, जिससे भ्रम और गुस्सा फैला। नतीजतन, कई गेट तोड़े गए और भगदड़ मच गई।
- 3. पुलिस को समय नहीं मिला – 'भगवान नहीं है पुलिस'
- रिपोर्ट में कहा गया कि अचानक परेड रद्द करने से दंगे हो सकते थे, इसलिए परेड को सीमित समय में संपन्न कराया गया। वहीं, सस्पेंड किए गए IPS अधिकारी विकास कुमार को CAT ने बहाल कर दिया है। CAT ने कहा, "पुलिस भगवान नहीं है, उसे भी व्यवस्था के लिए समय चाहिए।"
- 4. BCCI लोकपाल ने भी मांगा जवाब
- BCCI के लोकपाल जस्टिस अरुण मिश्रा (रिटायर्ड) ने RCB और कर्नाटक क्रिकेट संघ से इस घटना पर लिखित जवाब मांगा है। एक शिकायतकर्ता ने कहा है कि सुरक्षा में लापरवाही बरती गई और जब तक जांच पूरी न हो, फ्रेंचाइजी की बिक्री पर रोक लगाई जाए।
4 जून को चिन्नास्वामी स्टेडियम में RCB की IPL 2025 जीत पर विक्ट्री परेड रखी गई थी। अचानक बढ़ी भीड़ से भगदड़ मच गई। 11 लोगों की मौत हो गई और 33 से ज्यादा घायल हुए। लाखों लोग सड़कों पर थे, कई दीवार फांदने लगे और गेट तोड़ दिए गए।
🔴 सरकार की टिप्पणी
राज्य मंत्री शरण प्रकाश पाटिल ने कहा, "यह निश्चित तौर पर विभाग की बड़ी चूक है, युवा जानें गई हैं, हम इसे हल्के में नहीं ले सकते। कार्रवाई की जाएगी।"


